प्रसिद्ध धार्मिक पर्यटन स्थल जतमई धाम मार्गअधूरे बदहाल जर्जरघाटी मोड़ में किनारे के बड़े बड़े पत्थर बारिश से गिरने लगा है रोडकिनारे के बड़े बड़े पेड़ सड़क कि ओर झुक गया है
जिला गरियाबंद प्रदेश के प्रसिद्ध धार्मिक पर्यटन स्थल जतमई धाम मार्ग इस बारिश में जानलेवा साबित होने वाला है। यहां की अधूरे बदहाल जर्जर सड़के में सम्हल कर चले कही ये सफर जानलेवा साबित ना हो इन दिनों एसे भी सड़क दुर्घटना का ग्राफ बढ़ा है ऐसे में कही आप भी इस अधूरे निर्माण के शिकार ना हो जाए ।
क्यों की जतमई घाटी मोड़ में किनारे के बड़े बड़े पत्थर बारिश से गिरने लगा है जिसमे कभी भी बड़ी दुर्घटना होने की आशंका बनी हुई है।साथ ही निर्माण कंपनी द्वारा सड़क किनारे के मिट्टी और पत्थर को काट कर
निकाल देने से किनारे के बड़े बड़े पेड़ सड़क कि ओर झुक गया है है जो कभी भी धाराशाही हो सकता है।तो वही जगह जगह अधूरे छोड़े सड़क में खतरा मंडरा रहा है।राहगीर और दर्शनार्थी स्पीड में वाहन चलाते आते है और अधूरे बने सड़क को समझ नही पाता और
धोखा खा कर दुर्घटना के शिकार हो जाते है। ऐसा ही अधूरा सड़क तौरेंगा के मौली पारा के पास है जहा लोग आय दिन दुर्घटना का शिकार हो रहे है।मोहल्ले वाले मदद कर देते है।तो राहगीरों को सहूलियत मिल जाता है।इस प्रकार कई राहगीर यहां हादसे का शिकार हो गए हैं।बता दे की जतमई मंदिर दर्शनीय पर्यटन स्थल है जहां देशभर से बड़ी संख्या में सैलानी यहां आते हैं । मानसून मे यहां की जलप्रपात पूरे सबाब पर रहता है जिसका आनंद लेने दूर दूर से सैलानी यहां आते है ।
पर यहां आने वाले श्रद्धालुओं की राह इस बार कठिन होने वाला है। यह मार्ग अपनी बदहाली के आंसू बहा रहा।जगह जगह पुल पुलिया भी अधूरे है। इस मार्ग पर चलना मतलब मौत को निमंत्रण देना साबित हो रहा है ।विगत कई वर्षो से कछुआ चाल मे चल रहे रोड निर्माण अभी तक पुरा नही हुआ । जबकि समय रहते कम से कम जतमई मंदिर तक निर्माण को पूरा कर देना था । पर कछुआ गति से चल रहा निर्माण शायद ही अभी एक दो साल में पूर्ण हो।।