भारतीय स्टेट बैंक का अधिकारी बताकर एटीएम बनवाने के लिए ओटीपी नंबर मांगा, प्रार्थीया के खाते से निकल लिया राशी

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गरियाबंद राजिम थाना क्षेत्र में आकर प्रार्थीया श्रीमति ममता ठाकुर निवासी राजिम ठाकुर पारा का मोबाइल नंबर 7633975820 एवं 9903687212 के धारक द्वारा मोबाइल नंबर में दिनांक 01-05-2021 को कॉल करके अपने आपको भारतीय स्टेट बैंक का अधिकारी होना बताकर एटीएम बनवाने के लिए ओटीपी नंबर मांग कर प्रार्थीया के खाते से 72600 रूपये धोखा देकर आहरण कर लिया था जिसकी रिपोर्ट पर थाना राजिम में अपराध क्रमांक 100/2021 धारा 420 भादवि एवं धारा 66 (घ) आईटी एक्ट का अपराध कायम कर विवेचना में लिया गया था पुलिस महानिरीक्षक डॉ. आनंद छाबडा के आदेशानुसार राज्य में साइबर क्राइम व धोखाधडी अपराधो के विरूद्व कठोर कार्यवाही करने संबंधी दिशा-निर्देश पर पुलिस अधीक्षक श्रीमति पारूल माथुर के निर्देशानुसार अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, संतोष महतो, पुलिस अनुविभागीय अधिकारी संजय ध्रुव गरियाबंद के मार्गदर्शन में साइबर सेल से जानकारी प्राप्त कर आरोपी द्वारा मोबिक्विक हाउसिंग डॉट कॉम वालेट के माध्यम से रुपए को अलग-अलग खातों में ट्रांसफर करना पाया गया आरोपी 01.समरुद्दीन अंसारी पिता रासोमियां पता ग्राम मोरने थाना मोहनपुर जिला देवघर राज्य झारखंड के द्वारा मोबिक्विक वॉलेट आईडी अपने मोबाईल में बनाकर आरोपी

02.बदरूद्दीन अंसारी पिता ताजरूद्दीन निवासी ग्राम मोरने थाना मोहनपुर जिला देवघर के इलाहाबाद बैंक खाते में 20200 रूपये,समीना अंसारी पति शखावत अंसारी निवासी मोरने थाना मोहनपुर जिला देवघर के स्टेट बैंक के खाते में 20200 रूपये एवं आरोपी 4. दिलकश अंसारी पिता समरूद्दीन अंसारी निवासी ग्राम मोरने थाना मोहनपुर जिला देवघर के स्टेट बैंक खाता में 20200 रूपये टांसफर किया गया आरोपी खाता धारक दिलकश अंसारी जो दिल्ली में रहकर काम करता है उसका बड़ा भाई दिलशाह अंसारी पिता समरुद्दीन अंसारी ग्राम मोरने थाना मोहनपुर जिला देवघर द्वारा अपने छोटे भाई दिलकश अंसारी के खाता से रकम का आहरण किया एवं अपराध में सक्रिय रहा जिसके आधार पर आरोपी समर उद्दीन अंसारी , बदरुद्दीन अंसारी , समीना अंसारी , दिलशाद अंसारी सभी निवासी ग्राम मोरने थाना मोहनपुर जिला देवघर झारखंड से पुलिस अधीक्षक महोदय द्वारा गठित टीम द्वारा आरोपीगण को उनके घर से रेड कर प्रकरण में गिरफ्तार किया गया है दिनांक 07-10-2021 को न्यायिक रिमांड पर भेजी जा रही है जितने भी ऑनलाइन ठगी होती है सब मे बैंक की मिली भगत से ही सम्भव होता है बैंक के कर्मचारियों ठगी लोगो का पूरा साथ देती है बैंक के कर्मचारी कुछ कमाई के चक्कर में एक परिवार की पूरी जमा पूंजी छीन कर ले लेते । इस ऑनलाइन ठगी को कभी जमानत नही होनी चाहिए आजीवन कारावास होना चाहिए तब जुर्म करने से डरेंगे ऑनलाइन ठगी वाले का कोई भी वकील जमानत नही लेनी चाहिए तब इनको समक्ष में आएगा जेल क्या होता है। प्रकरण में थाना प्रभारी संतोष भूआर्य, सउनि देव कुमार वर्मा, प्रधान आरक्षण रंजीत साहू, आरक्षक भूपेंद्र प्रताप सिंह ,करम जांगड़े, महिला आरक्षक सलिका खूंटे,महिला सैनिक मंजू साहू को हमराह लेकर आरोपीगण को झारखंड प्रांत से गिरफ्तार करने में एवं साइबर सेल आरक्षक सतीश यादव , तरूण यादव , भूपेन्द्र दीवान खिलेश सोनी का सराहनीय भूमिका रही है