रायपुर। भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू की आज 55वीं पुण्यतिथि है। इस अवसर पर उन्हें मुख्यमंत्री भूपेश बघेल समेत कांग्रेसियों ने राजीव भवन में श्रद्धांजलि दी। पुण्यतिथि के मौके पर कांग्रेस भवन में व्याख्यानमाला का आयोजन किया गया है। नेहरू के भारत पर प्रसिद्ध आलोचक पुरुषोत्तम अग्रवाल व्याख्यान दे रहे हैं। जिन्हें सुनने के लिए भूपेश बघेल कार्यकतार्ओं के बीच जाकर बैठ गए और उनका संबोधन सुन रहे हैं। प्रसिद्ध आलोचक पुरुषोत्तम अग्रवाल ने अपने व्याख्यान में कहा कि तब भी नगर निगम का काम नहीं होता था नेहरू की आलोचना होती थी। आज भी कुछ लोग नेहरू को जिम्मेदार ठहराते हैं। जो समाज अपने बनाने वाले के प्रति कृतज्ञ नहीं होता उस समाज को मानवीय नहीं माना जा सकता। उन्होंने कहा कि साध्वी प्रज्ञा की उम्मीदवारी पर भोपालवासियों ने सवाल नहीं उठाए मुझे आश्चर्य होता है। 1948 में एटॉमिक एनर्जी कमीशन की स्थापना की गई थी, तब दुनिया के देश हंस रही थी कि देश में औसत आयु 31 साल है वहां एटॉमिक एनर्जी बनाया जा रहा है। नेहरू ने कभी नहीं कहा कि वो एक्सीडेंटल हिंदू हैं। एमजे अकबर ने बायोग्राफी में भी कहा गया है कि नेहरू ने ऐसा कभी नहीं कहा है। नेहरू अपनी भारतीयता बैलगाड़ी में लाद कर नहीं चलते थे। वो उनके चिंतन और ज्ञान में झलकता है। नेहरू कंज्यूमर नहीं सिटीजन पैदा करना चाहते थे। नेहरू की सोच समग्र सोच थी उस सोच के बिना भारत की कल्पना नहीं कि जा सकती। नेहरू जितनी वैज्ञानिक सोच वाले थे उतनी ही संस्कृति सोच वाले व्यक्ति थे।